बौद्ध कालीन : काशी, वाराणसी, सारनाथ

Authors(1) :-डॉ. दानपाल सिंह

भारत के प्राचीनतम विद्या केन्द्र और महान् सांस्कृतिक नगरी काशी का एक नाम वरुणा और असी नामक नदियों के बीच में बसा होने के कारण वाराणसी भी है। सप्तपुरियों में प्रधान माने जाने वाली काशी में सभी धर्म सम्प्रदायों के लिए समान रूप से स्थान है। शान्तभाव से प्रवाहित होती हुई त्रिताप नाशिनी भागीरथी के तट पर स्थित तीनों लोकों से न्यारी काशी अत्यन्त मनोरम एवं नयनाभिराम है।

Authors and Affiliations

डॉ. दानपाल सिंह
काजीपुरखुर्द, गोरखपुर, उ0प्र0।,भारत

वाराणसी, शान्तभाव, पतंजलि, स्कंद पुराण, पाणिनी, अष्टाध्यायी।

  1. काश्यप-बन्धुओं की प्रव्रज्या के सम्बन्ध में पालि परम्परा के आधार पर विस्तृत विवरण के लिए द्रष्टव्य विनय पिटक(हिन्दी अनुवाद) पृ. 89.94
  2. वि0च0 लाहा, महावीर, हिज लाइफ ऐंड टींचिंग्स,खण्ड 1 उवासगद,साओ भाग पृ. 90.98,जैन सूत्राज सैबु0ई भाग 2 पृ0136-7 सूत्र कृतांग,जैन सूत्राज,पृ087,एस0स्टभ्वंसन ,हार्ट ऑव जैनिज्म पृ048-49।
  3. अंगुŸार 1, 293, दीघ146, विनय1,343 और आगे, धम्मपद कामेटी्र1, 56 और आगे,जातक 3,399 और आगे,
  4. जातक 2,237,5,342 और आगे।
  5. संयुŸा निकाय 1,82-85
  6. संयुŸा निकाय (हिन्दी अनुवाद) पृ0 76-78 (पठम् संगाय सुŸा तथा दुतिय संगाम सुत), धम्म पदद्रठकथा जिल्द तृतीय पृष्ठ 266।
  7. अंगुŸार निकाय,जिल्द प्रथम पृ0213, जिल्द चतुर्थ पृष्ठ 252,256,260
  8. महावग्गो (विनय पिटक) दुतियोभागो पृ0262
  9. घटिकार सुŸांत (मज्झिम 2/4/1)
  10. जिल्द प्रथम पृष्ठ 228-229
  11. द्रष्टव्य हेमचन्द्र चौधारी :पॉलिटिकल हिस्ट्री ऑव ऐंशिएंट इंडिया,पृष्ठ 76
  12. द्रष्टव्य विनय पिटक (हिन्दी अनुवाद)पृष्ठ 274,टिप्पणी।
  13. घोट मुख सुŸांत (मज्झिम 2/5/4)
  14. कासिकोसलेसु’’। जनवसभ सुŸा (दीघ0 2/5) ‘‘कासी च कोसला। थेरीगाथा, गाथा 110 (बम्बई विश्वविद्यालय संस्करण) भिलाइए अंगुŸार निकाय,जिल्द पांचवी पृष्ठ 59।
  15. ह्नेसांग,अनु0 वाटर्स,खण्ड 2,46.47,ह्ेनसांग, अनु0 बील खण्डपृ 47 ।
  16. तत्रैव

Publication Details

Published in : Volume 2 | Issue 1 | January-February 2019
Date of Publication : 2019-01-30
License:  This work is licensed under a Creative Commons Attribution 4.0 International License.
Page(s) : 147-153
Manuscript Number : SHISRRJ19214
Publisher : Shauryam Research Institute

ISSN : 2581-6306

Cite This Article :

डॉ. दानपाल सिंह , "बौद्ध कालीन : काशी, वाराणसी, सारनाथ ", Shodhshauryam, International Scientific Refereed Research Journal (SHISRRJ), ISSN : 2581-6306, Volume 2, Issue 1, pp.147-153, January-February.2019
URL : https://shisrrj.com/SHISRRJ19214

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