Manuscript Number : SHISRRJ19241
महापुराणों में भागवतपुराण एक संक्षिप्त परिचय
Authors(1) :-हंसराज जोशी पुराण साहित्य में सर्वाधिक प्रचलित कृति भागवत-पुराण ही है। इस पर अनेक संस्कृत व्याख्याएं हुई हैं तथा अनेक भाषाओं में इसके रुपान्तर है। रामायण के समान इसका व्यापक प्रचार है। भक्तिरस का आधारग्रन्थ और धर्म का रसमय स्वरुप होने के कारण इसे अनुपम प्रसिध्दि प्राप्त है। अन्य पुराणों की अपेक्षा इसकी भाषाशैली अत्यधिक परिष्कृत,लालित्यपूर्ण,कवित्वमय व प्रौढ़ है। शिक्षित जनों के घर में वेद या अन्य पुराण भले ही न मिलें किन्तु भागवत पुराण अवश्य मिलेगा। विभिन्न अवसरों पर किसी फ़ल के उद्देश्य से इस पुराण का सप्ताह-परायण होता है। इसे सभी दर्शनों का सार(निगमकल्पतरोर्गलितं फलम्) तथा विद्वानों का परीक्षास्थल कह गया है,(विद्य़ावतां भागवते परीक्षा)।
हंसराज जोशी Publication Details Published in : Volume 2 | Issue 4 | July-August 2019 Article Preview
शोधार्थी, चलभाष
Date of Publication : 2019-07-30
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Page(s) : 01-04
Manuscript Number : SHISRRJ19241
Publisher : Shauryam Research Institute
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