वर्तमान परिप्रेक्ष्य में हिन्दी दलित साहित्य

Authors(1) :-डाॅ अखिलेश सिंह

वर्तमान दलित साहित्य, साहित्य को सीधे तौर पर सामाजिकता से जोड़ता है। दलित वर्ग के साथ सदियों से होने वाले अमानवीय व्यवहार का ही प्रतिफलन है। दलित समाज द्वारा अपनी पहचान का विद्रोह ही दलित साहित्य के उद्भवन का आधार है दलित साहित्य का उद्देश्य साहित्य की कला एवं सौदर्य से परिचय करने की अपेक्षा दलितों की समस्याओं का यथार्थ अंकन कर उनका समाधान प्रस्तुत करना है। दलित साहित्य का विकास सर्वप्रथम मराठी में हुआ, मराठी में दलित साहित्य का विकास एक प्रकार से सांस्कृतिक उद्गार है। वस्तुतः हिन्दी क्षेत्र में दलित साहित्य की चर्चा 19वीं सदी से प्रारम्भ हुई, दलित साहित्य की चेतना सिर्फ अपनी समस्याओं के उद्गार तक सीमित न रह कर इसे अन्य धाराओं से अलग रखते हुये, अपने कलुषित यथार्थ से उर्जा प्राप्त कर नवीन संकल्पों का सृजन करना है।

Authors and Affiliations

डाॅ अखिलेश सिंह
ग्राम व पोस्ट ईटवाँ, थाना गड़खा जिला-छपरा, बिहार, भारत

दलित साहित्य, सामाजिकता, दलित वर्ग, कला, सौदर्य।

  1. ओम प्रकाश बाल्मिकी: दलित साहित्य का सौन्दर्य शास्त्र, राधाकृष्ण, दिल्ली, 2001 पृ0 15
  2. प्रेम कुमार मणि: दलित साहित्य एक परिचय लेख।
  3. श्यौराज सिंह बेचैन,: एक अलग रास्ता है दलित कथा का अंगुत्तर जु0सि0 1997 पृ0 90
  4. सी0वी0 भारती: दलित साहित्य का सौन्दर्य शास्त्र, हंस अंक 1, 1996, पृ0 70-71
  5. सी0वी0 भारती: दलित साहित्य का सौन्दर्य शास्त्र, हंस अंक 1, 1996, पृ0 70-71
  6. जय प्रकाश कर्दम: दलित साहित्य, 1999, पृ0 30
  7. राजेन्द्र यादव: हंस अगस्त 2004, पृ0 223
  8. मोहन दास नैमिशराय: नाभि चेतना, पृ0 23
  9. वही, पृ0 23
  10. रोमा रोलां: महात्मा गांधी जीवन दर्शन, लोकभारती, इलाहाबाद, 1976, पृ0 15
  11. कबीर ग्रन्थावली: पदवली भाग, पृ0 431
  12. एन0 सिंह- मेरा दिलत चिंजन, कन्चन प्रकाशन, दिल्ली, 2002, पृ0 37
  13. नरेन्द्र सिंह: दलितों के रूपांतरण की प्रक्रिया, राधाकृष्ण, दिल्ली, 1993 पृ0 72
  14. अम्बेडकर: राइटिंग्स एंड स्पीचिस खण्ड 2, पृ0 16
  15. वही, पृ0 7 का पृ0 16
  16. बाबा साहेब अम्बेडकर: राइटिंग्स एण्ड स्पीसेज, खण्ड-2, पृ0 11
  17. वही, पृ0 242
  18. कृष्णदत्त पालीवाल, डाॅ0 अम्बेडकर और समाज व्यवस्था, किताब घर, दिल्ली, 1996, पृ0 14
  19. मनुस्मृति, पृ0 270-272
  20. सुभाष चन्द्र: जाति क्यों नहीं जाती, उदयभावना, दिल्ली, 2005, पृ0 30
  21. वही, पृ0 30-31
  22. वही, पृ0 30-31
  23. ओम प्रकाश बाल्मीकि - घुसपैठिये, हंस पत्रिका मई 2000 पृ0 43
  24. ओम प्रकाश बाल्मीकि - अम्मा, हंस पत्रिका मई 2000 पृ0 29
  25. सूरज पाल चैहान- हैरी कब आयेगा, हंस 2001. पृ0 26

Publication Details

Published in : Volume 2 | Issue 4 | July-August 2019
Date of Publication : 2019-08-30
License:  This work is licensed under a Creative Commons Attribution 4.0 International License.
Page(s) : 13-18
Manuscript Number : SHISRRJ19245
Publisher : Shauryam Research Institute

ISSN : 2581-6306

Cite This Article :

डाॅ अखिलेश सिंह, "वर्तमान परिप्रेक्ष्य में हिन्दी दलित साहित्य", Shodhshauryam, International Scientific Refereed Research Journal (SHISRRJ), ISSN : 2581-6306, Volume 2, Issue 4, pp.13-18, July-August.2019
URL : https://shisrrj.com/SHISRRJ19245

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